अभ्रक भस्म के फायदे हिंदी में

अभ्रक भस्म के फायदे हिंदी में

अभ्रक भस्म एक ऐसी दवा है जिसमे हर्बल और मिनरल दोनों ही होते हैं और इसका उपयोग अस्थमा, मूत्र से सम्बंधित बीमारियों, त्वचा की बीमारियों, उच्च रक्तचाप, दिल के रोगों, पुरानी खांसी, नपुंसकता और पैरालिसिस आदि के इलाज़ के लिए बहुत उपयोगी है। Lets learn more about Abhrak Bhasma Benefits In Hindi.

अभ्रक भस्म सामग्री | Abhrak Bhasma Material

  • अभ्रक भस्म असल में ठंडी की हुई अभ्रक की राख होती है जिसे कई प्रकार के पौधों के सैप, रस और काढ़े मिलाकर तैयार किया जाता है|
  • इसमें आयरन, मैग्नीशियम, कैल्शियम, एलुमिनियम जैसे मिनरल भी होते हैं|
  • इसके इलावा महायोगराज गुग्गुल, स्वर्ण भुपथी रस, पंचामृत पर्पति, अभर पर्पति और त्रैलोक्य चिंतामणि रस जैसी आयुर्वेदिक दवाओं में भी अभ्रक भस्म पाया जाता है|

अभ्रक भस्म स्वास्थ्य – लाभ | Abhrak Bhasma Health Benefits In Hindi

इसका उपयोग कई प्रकार की स्वास्थ्य समस्याओं के लिए किया जाता है जैसे:

  • तेज़ सिर दर्द, माइग्रेन, डिमेंशिया, यादाश्त की कमजोरी, पार्किन्सन रोग और वर्टिगो जैसी नर्वस सिस्टम की बीमारियों के लिए
  • दिमागी कमजोरी, अनिद्रा, डिप्रेशन, तनाव, हिस्टीरिया जैसी मानसिक बीमारियों के लिए|
  • सीने की जलन, अल्सर, हेपेटाईटिस, जिगर बढना, पीलिया और एसिडिटी जैसी पेट की बीमारियों का इलाज़ करने के लिए|
  • अस्थमा, खांसी, दिल की कमजोरी और एनीमिया जैसी दिल और खून की बीमारियों के लिए|
  • पुरुषों के बांझपन और नपुंसकता के लिए|

अभ्रक भस्म खुराक | Abhrak Bhasma Dose

वयस्कों को 750 मि.ग्रा. से ज्यादा और बच्चों को 250 मि.ग्रा. से ज्यादा इसे नहीं देना चाहिए|

  • एक वर्ष से कम उम्र के शिशुओं के लिए 15 मि.ग्रा. से 30 मि. ग्रा. तक|
  • एक से दस साल तक के बच्चों के लिए 30 मि.ग्रा. से 125 मि.ग्रा. दिन में दो बार|
  • वयस्कों को 125 से 250 मि.ग्रा. भोजन के बाद एक या दो बार|

अभ्रक भस्म के साइड इफेक्ट | Abhrak Bhasma Side Effects

इस लेख में बताई गयी स्वास्थ्य समस्याओं में इस दवा का उपयोग डॉक्टर के बताये अनुसार लेने पर ही सुरक्षित होता है| लेकिन इसे लेने पर कुछ लोगों दिल की धड़कन तेज महसूस होना जैसे साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं ऐसा केवल उन्ही लोगों को होता है जो इसे रोज़ और ज्यादा मात्रा में लेते हैं  ऐसे साइड इफेक्ट्स से बचने के लिए इस दवा को चिकित्सक की सलाह के अनुसार ही लेना चाहिए|

दिल की धड़कन तेज़ होने की अवस्था में इस दवा को कम से कम 2 हफ्ते के लिए बंद कर दें और डॉक्टर से पूछ कर ही दोबारा शुरू करें|

अभ्रक भस्म सावधानियां | Abhrak Bhasma Precautions

  • यह दवा कभी भी अपने आप लेने की कोशिश ना करें, हमेशा डॉक्टर के बताये अनुसार ही यह दवा लें|
  • गर्भवती, बच्चों को दूध पिलाने वाली माताएं और बच्चे इस दवा से बचें|
  • इस दवा को सूखी और ठंडी जगह पर बच्चों की पहुंच से दूर में रखें।
  • अल्सर और रक्तस्राव के विकारों में इस दवा को लेने से बचें।

अभ्रक भस्म निर्माता | Abhrak Bhasma Manufacturer

  • डाबर
  • दिव्य फार्मेसी
  • बैद्यनाथ
  • झंडू
  • धूतपापेश्वर

अभ्रक भस्म एक आश्चर्यजनक आयुर्वेदिक दवा है  लेकिन इसके फायदे तभी हो सकते हैं जब इसे सही मात्रा में लिए जाए वरना यह खतरनाक हो सकती है| इस दवा को अलग अलग प्रकार की आयुर्वेदिक प्रक्रियाओं द्वारा तैयार किया जाता है इसलिए इसका उपयोग डॉक्टर की देखरेख में करना ही सही है|

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